(Know About Pneumonia)
निमोनिया सांस से जुड़ी एक गंभीर बीमारी है, जिसमें फेफड़ों में इन्फेक्शन हो जाता है। आमतौर पर जुकाम-बुखार या होने के बाद निमोनिया होता है और यह 10-12 दिन में ठीक हो जाता है। लेकिन कई बार यह खतरनाक भी हो जाता है, खासकर 5 साल से छोटे बच्चों और 60 साल से ज्यादा उम्र के लोगों में क्योंकि उनकी इम्युनिटी कम होती है। निमोनिया होने पर फेफड़ों में सूजन आ जाती है और कई बार पानी भी भर जाता है। जब किसी व्यक्ति को निमोनिया होता है, तो उसके फेफड़ों के अंदर हवा के स्थान पर धीरे-धीरे मवाद और अन्य तरल पदार्थों बनने शुरु हो जाते है, जिससे ऑक्सीजन का मार्ग कम हो जाता है।
निमोनिया विभिन्न प्रकार के हो सकते हैं जैसे बैक्टीरियल निमोनिया, वायरल निमोनिया, आकांक्षा निमोनिया, फंगल निमोनिया, अस्पताल द्वारा अधिग्रहित निमोनिया और समुदाय-आधारित निमोनिया है। स्ट्रेप्टोकोकस निमोनिया सबसे आम जीवाणु है जो फेफड़ों की सूजन का कारण बनता है। अन्य बैक्टीरिया क्लैमाइडोफिला निमोनिया और लेगियोनेला न्यूमोफिला हैं। इन्फ्लूएंजा टाइप A & B और श्वसन संकरी वायरस जैसे वायरस पैदा करने वाले कुछ फ्लू अक्सर छोटे बच्चों और बुजुर्ग लोगों में वायरल निमोनिया के लिए जिम्मेदार होते हैं। फंगल निमोनिया मिट्टी या पक्षी छोड़ने वाले इनहेलेशन में मौजूद कवक (कोकिडायोइड्स) के संपर्क के कारण होता है। निमोनिया ज्यादातर बैक्टीरिया, वायरस या फंगल के हमले से होता है। मौसम बदलने, सर्दी लगने, फेफड़ों पर चोट लगने के अलावा खसरा और चिकनपॉक्स जैसी बीमारियों के बाद भी इसकी आशंका बढ़ जाती है। इधर, प्रदूषण की वजह से भी निमोनिया के मामले बढ़ रहे हैं। टीबी, एचआईवी पॉजिटिव, एड्स, अस्थमा, डायबीटीज, कैंसर और दिल के मरीजों को निमोनिया होने की आशंका ज्यादा होती है।
हालाँकि, फ्लू का टीका पूरी तरह से निमोनिया को नहीं रोकता है क्योंकि यह इन्फ्लूएंजा वायरस से बचाव करता है, यह इस बीमारी से कुछ सुरक्षा प्रदान करता है। बच्चों के लिए निमोनिया का टीका PCV13 है। यह उन सभी बच्चों के लिए एक अनुशंसित टीका है जो दो वर्ष से कम उम्र के हैं। यह टीका बच्चों को 13 न्यूमोकोकल बैक्टीरिया से बचाता है। न्यूमोवैक्स (बच्चों और वयस्कों के लिए PPSV23 नाम के टीके आमतौर पर बैक्टीरिया एस निमोनिया के कारण होने वाले निमोनिया से लड़ने के लिए उपयोग किए जाते हैं। निमोनिया की गंभीरता के आधार पर तय किया जाता है। मरीजों को सलाह दी जाती है कि हाइड्रेटेड रहने के लिए पर्याप्त मात्रा में तरल पदार्थ पीने के साथ-साथ पूरी तरह से आराम करें ताकि प्रतिरक्षा को बढ़ावा मिल सके।
निमोनिया के लक्षण (Symptoms of Pneumonia)
» निमोनिया का मुख्य लक्षण खाँसी है।
» बलगम वाली खाँसी से ग्रस्त होना।
» रोगी को बुखार के साथ पसीना और कंपकंपी भी हो सकती है।
» रोगी को सांस लेने में कठिनाई होती है, या फिर वो तेजी से सांस लेने लगता है।
» सीने में दर्द होना।
» बेचैनी महसूस होना।
निमोनिया में राहत देंगी ये चीजें (These things will give relief in Pneumonia)
मौसम बदलने पर सर्दी खांसी और बुखार होना आम बात है लेकिन अगर ये बुखार बिगड़ जाए तो यह निमोनिया का रूप ले लेता है। यूमोनिया फेफड़ों में बेक्टीरियल इन्फेक्शन की वजह से होने वाला बुखार है जो लंबे समय तक शरीर में टिक जाता है और शरीर को बुरी तरह तोड़ देता है। यूं तो इस दौरान डॉक्टर की दवाई चलती है लेकिन कुछ घरेलू नुस्खों की मदद से फेफड़ो के संक्रमण को कम कर सकते हैं और शरीर की कमजोरी भी दूर कर सकते हैं।
अदरक की चाय और अर्क निमोनिया में राहत देगी (Ginger tea and extract will give relief in pneumonia): अदरक एंटी बेक्टीरियल तत्वो से भरपूर है। इसका नियमित प्रयोग करने से फेफड़ों का संक्रमण दूर होता है और कफ निकल जाता है। निमोनिया ग्रस्त मरीज को गर्म पानी में अदरक के टुकड़े उबाल कर इसका पाने पिलाने से राहत मिलती है। गर्म पानी में अदरक का अर्क मिला कर भी उपयोग में ला सकते हैं। अदरक का चाय भी इस दौरान फायदा करती है। निमोनिया के मरीज को बुखार के समय अदरक की चाय देने से बुखार जल्दी दूर होने की संभावना बनती है।
शहद निमोनिया में राहत देगा (Honey will give relief in pneumonia): शहद को गर्म पानी में मिलाकर निमोनिया के मरीज को पिलाने से खांसी में आराम मिलता है। इसके एंटी बैक्टीरियल और एंटी फंगल तत्व संक्रमण और खांसी को ठीक करने में सहायक होते हैं।
सरसों का तेल निमोनिया में राहत देगा (Mustard oil will give relief in pneumonia): सरसों के तेल को गुनगुना कर लें और इसे छाती पर हल्के हाथ से मालिश करें। इससे फेफड़ों में जमा कफ बाहर निकलता है और शरीर को आराम मिलता है।
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